खेल डेस्क. यूरोप के फुटबॉल क्लब पर्यावरण बचाने के लिए अपने स्तर पर काम कर रहे हैं। कोई रिन्यूएबल एनर्जी पर काम कर रहा है तो किसी ने सिंगल यूज प्लास्टिक पर बैन लगा दिया है। रेन वाटर हार्वेस्टिंग आैर सोलर सिस्टम तो अधिकतर क्लबों ने लगवाया है। बीबीसी और यूएन की क्लाइमेट चेंज पर काम करने वाली कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार, इंग्लिश प्रीमियर लीग (ईपीएल) के सभी 20 क्लब फैंस को पर्यावरण के प्रति जागरुक कर रहे हैं। वे पब्लिक ट्रांसपोर्ट का इस्तेमाल करते हैं और फैंस से भी ऐसा करने को कहते हैं।
20 में से 15 क्लब स्टेडियम में वीगन फूड उपलब्ध कराते हैं। 16 क्लबों के पास पानी का सही तरीके से कैसे इस्तेमाल हो, इसे लेकर प्लानिंग है। रिपोर्ट के बाद इन क्लबों को रेटिंग भी मिली है, कि कौन सा क्लब कितना ग्रीन है। आर्सनल 90% वेस्ट को रिसाइकल करता है जबकि मैनचेस्टर यूनाइटेड और सिटी सिंगल यूज प्लास्टिक इस्तेमाल नहीं करता। टॉटेनहैम ने ग्रीन रूफ लगवाई है।
फुटबॉल क्लबों को 8 मानक के आधार पर रेटिंग दी गई है
बीबीसी और क्लाइमेट चेंज पर काम करने वाली यूएन की कमेटी ने क्लबों को रेटिंग देने के लिए एनर्जी उपयोग करने वाला पहला क्लब मानक निर्धारित किए गए थे। जैसे- क्लब क्लीन एनर्जी इस्तेमाल करता है या नहीं। उसके पास वाटर मैनेजमेंट सिस्टम है या नहीं वगैरह। अगले साल यूएन की स्पोर्ट पॉजिटिव समिट होनी है। पहली बार होने वाली इस समिट में इन सभी क्लबों के काम की भी चर्चा होगी।